ड्रोन हमले में अल कायदा नेता मारा गया
२८ सितम्बर २०१०खुफिया अधिकारियों का कहना है कि अल फतह उत्तरी वजीरिस्तान से गुजर रहा था जब उसकी गाड़ी 26 सितंबर को रॉकेट हमले की चपेट में आ गई. महत्वपूर्ण अल कायदा नेता होने के रूप में अल फतह की शिनाख्त के बाद अधिकारी ने कहा कि उस गाड़ी में चार अरब सवार थे, उनमें शेख फतह भी था. उत्तरी वजीरिस्तान को अल कायदा और तालिबान का गढ़ माना जाता है.
पाकिस्तान और अफगानिस्तान में उग्रपंथियों पर नजर रखने वाले लांग वॉर जरनल ओआरजी के अनुसार अल फतह पाकिस्तान और अफगानिस्तान में अल कायदा का ऑपरेशनल कमांडर था. उसे ओसामा बिन लादेन के सहयोगी मुस्तफा अबु अल याजिद के मारे जाने के बाद मई में यह जिम्मेदारी सौंपी गई थी. 2001 में अमेरिकी नेतृत्व में विदेशी सैनिकों द्वारा तालिबान सरकार को हटाए जाने के बाद अल कायदा और तालिबान सदस्य भागकर पाकिस्तान के पश्तून इलाके में चले गए थे जहां से वे पाकिस्तान और अफगानिस्तान में हमले करते रहे हैं.
पिछले महीनों में अमेरिका ने पाकिस्तान के कबायली इलाके में संदिग्ध उग्रपंथी ठिकानों पर ड्रोन हमले बढ़ा दिए हैं. अमेरिकी अधिकारियों का कहना है कि ड्रोन मूल्यवान हथियार हैं जिनसे तालिबान और अल कायदा के प्रमुख सदस्य मारे गए हैं. हाल के ज्यादातर हमले उत्तरी वजीरिस्तान में हुए हैं जो पाकिस्तान के सात कबायली क्षेत्रों में अकेला है जहां पाकिस्तानी सेना ने अमेरिकी दबाव के बावजूद अब तक कोई कार्रवाई नहीं की है.
उधर अफगानिस्तान में नाटो टुकड़ी के अमेरिकी कमांडर जनरल डेविड पेट्रैयस ने कहा है कि तालिबान हथियार डालने के लिए अफगान सरकार और विदेशी टुकड़ियों से संपर्क कर रहे हैं. उन्होंने मध्यस्तरीय तालिबान कमांडरों और आम लड़ाकों को आम जीवन में लाने के कार्यक्रम की चर्चा करते हुए कहा कि देश भर में 20 गुटों ने इस तरह की पहल की है.
रिपोर्ट: एजेंसियां/महेश झा
संपादन: आभा एम