शाही शादी के लिए छटपटाता मीडिया
२२ अप्रैल २०११पूरब से पश्चिम यानी मनीला से मेक्सिको तक इन दिनों ब्रिटेन के राजकुमार प्रिंस विलियम और उनकी मंगेतर केट मिडिलटन की शाही शादी की चर्चा हो रही है. कभी कहा जाता था कि ब्रिटिश साम्राज्य में सूरज कभी नहीं डूबता है क्योंकि उस वक्त हर टाइम जोन में ब्रिटेन की हुकूमत थी. वह साम्राज्य अब नहीं रहा लेकिन राजसी शौक अब भी बरकरार हैं. लोकतांत्रिक हो चुकी दुनिया भी 21वीं सदी में शाही शादी देखना चाहती है.
यही वजह है कि प्रिंस विलियम और केट की शादी को करोड़ों लोगों तक सीधे पहुंचाने के लिए दुनिया भर के हजारों पत्रकार लंदन की उड़ान भर रहे हैं. 24 घंटे के मीडिया के इतिहास में यह पहला मौका है जब राजसी खानदान कोई बड़ा आयोजन करने जा रहा है. अधिकारियों को उम्मीद है कि दुनिया भर में दो अरब लोग इस शादी को देखेंगे. इससे पहले 1981 में विलियम के पिता प्रिंस चार्ल्स और डायना की शादी को भी 75 करोड़ लोगों ने देखा था.
मीडिया का महाकुंभ
ब्रिटेन के एक बड़े पब्लिक रिलेशन सलाहकार मैक्स क्लिफोर्ड कहते हैं, ''मीडिया के लिए यह इस साल का बहुत बड़ा आयोजन है क्योंकि यह हर्षोल्लास वाला मौका है. अभी तक इस साल युद्ध और भूकंप की बुरी खबरें ही आई हैं.''
शादी के दिन ही बीबीसी के 550 कर्मचारी विवाह स्थल पर मौजूद होंगे. करीब 100 कैमरे इस्तेमाल करते हुए दुनिया के सभी महाद्वीपों में सीधा प्रसारण किया जाएगा. रेडियो और टेलीविजन चैनलों के करीब 180 ट्रक बकिंघम पैलेस पर खड़े रहेंगे. 48 टेलीविजन चैनलों ने अपना स्टूडियो बनाने के लिए भी अनुमति मांगी है. लंदन के फॉरेन प्रेस एसोसिएशन के निदेशक क्रिस्टोफर व्याल्ड कहते हैं, ''इस पर वित्तीय संकट से भी ज्यादा ध्यान दिया जा रहा है.'' खुद व्याल्ड मानते हैं कि उन्होंने अपनी जिंदगी में मीडिया का इतना जमावड़ा पहले कभी नहीं देखा.
दुनिया भर में दिलचस्पी
शाही शादी का भारत, पाकिस्तान, फिलीपींस, चीन, मेक्सिको, मलेशिया और ब्राजील जैसे देशों में भी सीधा प्रसारण होगा. यूरोप में यूरो टेलीविजन 62 प्रसारकों के साथ मिलकर प्रिंस और प्रिसेंज की शादी दिखाएगा. उम्मीद है कि यूरोप में 26 करोड़ दर्शक इस दौरान टीवी से चिपके रहेंगे. विवाह की रस्म 29 अप्रैल को लंदन में 11 बजे सुबह शुरू होगी. उस वक्त न्यूयॉर्क में सुबह के छह बजे होंगे जबकि नई दिल्ली में शाम के साढ़े तीन.
फिलहाल चर्चाओं में विलियम और केट की जोड़ी छाई है. लेकिन यह भी सच है कि शाही परिवार को लेकर हल्की सी दिलचस्पी रखने या न रखने वाला आज भी इस परिवार को एक और वजह से जानता है. वह वजह हैं प्रिसेंज डायना और उनकी वह अमर मुस्कान.
रिपोर्ट: एजेंसियां/ओ सिंह
संपादन: ए कुमार