अनुच्छेद 370 में संशोधन से होंगे ये 10 बड़े बदलाव
६ अगस्त २०१९भारत सरकार ने जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 में संशोधन का फैसला किया है. इन संशोधनों को सरकार ने 5 अगस्त को राज्यसभा में पास करवा लिया था. 6 अगस्त को ये संशोधन लोकसभा में रखे गए हैं. लोकसभा में बीजेपी के पास बहुमत है. ऐसे में ये आसानी से पास हो जाएगा. इन संशोधनों के बाद जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म हो जाएगा. अनुच्छेद 370 के साथ चर्चित धारा 35 ए भी खत्म हो जाएगी.
इन संशोधनों को संसद के सामने रखने से पहले जम्मू कश्मीर में किसी भी तरह की अप्रिय घटना को रोकने के लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए. पूरी कश्मीर घाटी में धारा 144 और कर्फ्यू लगा दिया गया. सभी सरकारी संस्थानों को बंद रखा गया. दूसरे राज्यों के लोगों को उनके राज्य वापस भेज दिया गया था. जम्मू कश्मीर के प्रमुख नेताओं उमर अबदुल्ला, महबूबा मुफ्ती और सज्जाद लोन को पहले नजरबंद किया गया और बाद में हिरासत में ले लिया गया. इन संशोधनों के बाद फिलहाल कश्मीर घाटी से हिंसा की कोई खबर नहीं है. कश्मीर में मोबाइल इंटरनेट, टेलीफोन और ब्रॉडबैंड सेवाएं और केबल टीवी फिलहाल बंद हैं.
केंद्र सरकार ने अनुच्छेद 370 के खंड 1 को जारी रखा है. संविधान विशेषज्ञ सुभाष कश्यप ने एनडीटीवी से बात करते हुए कहा कि 370(1) में प्रावधान के मुताबिक जम्मू और कश्मीर की सरकार से सलाह करके राष्ट्रपति आदेश द्वारा संविधान के विभिन्न अनुच्छेदों को जम्मू और कश्मीर पर लागू कर सकते हैं. 370(1) बकायदा कायम है सिर्फ 370 (2) और (3) को हटाया गया है. 370(3) में प्रावधान था कि 370 को बदलने के लिए जम्मू और कश्मीर संविधान सभा की सहमति चाहिए. जम्मू और कश्मीर संविधान सभा का अब अस्तित्व नहीं है.
अब क्या-क्या बदल जाएगा जम्मू कश्मीर में
1. अनुच्छेद 370 जम्मू कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा प्रदान करता था. इसके खंड 1 के अलावा सारे खंड हटा दिए गए हैं. ऐसे में अब विशेष राज्य का दर्जा भी समाप्त हो गया है.
2. जम्मू कश्मीर राज्य का पुनर्गठन किया जाएगा. जम्मू कश्मीर को राज्य की जगह विधानसभा सहित केंद्र शासित प्रदेश बनाया जाएगा. लद्दाख के इलाके को एक अन्य केंद्र शासित प्रदेश बनाया जाएगा. लद्दाख में विधानसभा नहीं होगी.
3. भारत में दोहरी नागरिकता लागू नहीं होती. भारत में एकल नागरिकता कानून है लेकिन जम्मू कश्मीर के नागरिकों को दोहरी नागरिकता मिलती थी. वो भारत के साथ साथ जम्मू कश्मीर के भी नागरिक होते थे. अब वहां भी एकल नागरिकता कानून लागू होगा.
4. भारत में राज्यों के अलग झंडे नहीं होते हैं. भारत का राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा ही पूरे देश का झंडा होता है. लेकिन जम्मू कश्मीर में भारत के झंडे के साथ राज्य का एक अलग झंडा होता था. जो अब नहीं होगा. जम्मू कश्मीर में भी भारत का झंडा और राज्यों की तरह लागू होगा.
5. जम्मू कश्मीर एक पूर्ण राज्य था. ऐसे में वहां की कानून व्यवस्था राज्य सरकार के अंतर्गत आती थी. लेकिन केंद्र शासित प्रदेश बन जाने के बाद राज्य की कानून व्यवस्था केंद्र सरकार के जिम्मे होगी.
6. अनुच्छेद 370 के चलते आर्थिक आपातकाल की स्थिति भी राज्य पर लागू नहीं होती थी. अब आर्थिक आपातकाल की स्थिति जम्मू कश्मीर पर भी लागू होगी.
7. अब तक जम्मू कश्मीर में सूचना का अधिकार कानून लागू नहीं होता था. लेकिन अब जम्मू कश्मीर में सूचना का अधिकार कानून लागू होगा.
8. जम्मू कश्मीर विधानसभा का कार्यकाल बाकी राज्यों से एक साल ज्यादा यानी छह साल होता था. लेकिन अब जम्मू कश्मीर विधानसभा का कार्यकाल भी पांच साल ही होगा.
9. जम्मू कश्मीर में मुस्लिम बहुसंख्यक और हिंदू अल्पसंख्यक हैं लेकिन यहां अल्पसंख्यकों को आरक्षण नहीं मिलता है. अब यहां अल्पसंख्यकों को आरक्षण मिल सकेगा.
10. धारा 35ए के चलते दूसरे राज्यों के निवासी जम्मू कश्मीर में संपत्ति नहीं खरीद सकते थे. अनुच्छेद 370 में संशोधन के साथ धारा 35ए खत्म हो जाएगी. अब जम्मू कश्मीर में वहां के स्थानीय निवासियों के अलावा दूसरे राज्यों के लोग भी संपत्ति खरीद सकेंगे.
गृहमंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में यह भी आश्वासन दिया कि घाटी के हालात सामान्य होने के बाद जम्मू कश्मीर को फिर से राज्य बना दिया जाएगा. लेकिन तब तक वहां केंद्र के प्रतिनिधि के रूप में उपराज्यपाल काम करेंगे. उन्होंने ये भी कहा कि हालात सामान्य होने में समय भी लग सकता है.
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