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ब्रिटेन में अगले हफ्ते से वैक्सीन मिलना चालू

२ दिसम्बर २०२०

ब्रिटेन कोरोना वायरस से बचने के लिए टीका लगाने की शुरुआत अगले हफ्ते से करने जा रहा है. फाइजर और बायोएनटेक की वैक्सीन ब्रिटेन में बड़ी संख्या में लोगों को लगाई जाएगी. इसके लिए जरूरी मंजूरी मिल गई है.

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Biontech Covid-19 Impfstoff
तस्वीर: Laci Perenyi/picture alliance

ब्रिटेन की मेडीसिन एंड हेल्थकेयर प्रॉडक्टस रेगुलेटरी एजेंसी एमएचआरए ने बयान में कहा है, "सरकार ने फाइजर बायोएनटेक की कोविड-19 वैक्सीन को मंजूरी देने के सुझाव को स्वीकार कर लिया है. वैक्सीन अगले हफ्ते से पूरे ब्रिटेन में उपलब्ध होगी." वैक्सीन के लिए केयर होम में रहने वाले लोगों, स्वास्थ्य कर्मचारी, बुजुर्ग और बीमार लोगों को वरीयता दी जाएगी. ब्रिटेन के स्वास्थ्य मंत्री मैट हनकॉक ने बताया है कि उनके विभाग ने एमएचआरए की सलाह पर इस वैक्सीन को आपातकालीन मंजूरी दी है. फिलहाल आठ लाख डोज के साथ इसकी शुरुआत की जा रही है.

एमएचआरए के बयान में यह भी कहा गया है कि कई महीनों के क्लिनिकल ट्रायल और आंकड़ों का निरंतर विश्लेषण करने के बाद एमएचआरए ने, "यह नतीजा निकाला है कि वैक्सीन सुरक्षा, गुणवत्ता और असर के बारे में एजेंसी के कठोर मानकों पर खरी उतरी है."

फाइजर के चेयरमैन एल्बर्ट बोउर्ला ने इस मौके को कोविड-19 से जंग में "ऐतिहासक" बताया है. बोउर्ला का कहना है, "यह अधिकार वह लक्ष्य है जिसके लिए हम तब से काम कर रहे थे जब हमने विज्ञान की जी का एलान किया था और हम यूके के लोगों को बचाने के लिए समय पर उठाए गए कदमों और सावधानीपूर्वक मूल्यांकन के लिए एमएचआरए की सराहना करते हैं."

फाइजर और बायोएनटेक ने इसके साथ ही कहा है कि वो दूसरे देशों की एजेंसियों से भी आने वाले दिनों और हफ्तों में इस तरह के फैसलों की उम्मीद कर रहे हैं.

ब्रिटेन में जिस वक्त वैक्सीन की मंजूरी की खबर आई, उसी वक्त वहां एक महीने से चला आ रहा लॉकडाउन खत्म भी हुआ. हालांकि देश के ज्यादातर हिस्से में लगी पाबंदियों आर संक्रमण को रोकने के लिए किए जा रहे उपायों पर अमल होता रहेगा. नवंबर में चार हफ्ते का लॉकडाउन संक्रमण को रोकने, स्वास्थ्य सेवाओं पर बढ़ते दबाव को कम करने और क्रिसमस के मौके पर परिवारों के जमा होने की स्थिति बनाने के लिए लगाया गया था.

कोरोना के खिलाफ जंग में लामा बना सुपरहीरो

कोविड-19 का संक्रमण झेल चुके प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने बड़ी मुश्किलों से संसद में नए उपायों के लिए मंजूरी हासिल की. खुद उनकी पार्टी ही इसके विरोध में थी. संसद में वोटिंग से पहले प्रधानमंत्री ने कहा, "हम लोगों को अपना धैर्य बनाए रखने की जरूरत है. ना केवल तब तक जब तक वैक्सीन हमारी पहुंच में नहीं आ जाती, बल्कि जब तक वह हमारी बांहों में इंजेक्ट नहीं कर दी जाती. तब तक हम आराम से नहीं बैठ सकते खासतौर से सर्द महीनों में."

बीते हफ्तों में कई कंपनियों ने सफल वैक्सीन तैयार कर लेने का दावा किया है. इनमें फाइजर बायोएनटेक के साथ ही मॉडेर्ना और ऑक्सफोर्ड प्रमुख हैं. उम्मीद की जा रही है कि इस महीने के आखिरी तक दूसरी कंपनियों को भी अलग अलग देशों में वैक्सीन सप्लाई करने की मंजूरी मिल जाएगी. इस बीच यूरोप और अमेरिका ने वैक्सीन को मंजूरी मिलने के बाद इसे हर जगह तक पहुंचाने की तैयारी शुरू कर दी है.

इससे पहले रूस ने भी स्पुतनिक वी नाम की एक वैक्सीन तैयार करने का दावा किया और रूस में राष्ट्रपति के साथ ही बड़ी संख्या में सेना के जवानों और अफसरों को इसकी डोज दी गई है. हालांकि इस वैक्सीन का यूरोप में क्लिनिकल ट्रायल अभी शुरू नहीं हुआ है. दूसरी तरफ भारत समेत कई देश रूसी वैक्सीन को हासिल करने की तैयारी में हैं. भारत की एक दवा कंपनी ने तो स्पुतनिक वी बनाने वाली कंपनी के साथ एक बड़ा करार भी कर लिया है.

दुनिया भर में फैली इस बीमारी के कारण 15 लाख लोगों की जान गई है, जबकि 6.3 करोड़ से ज्यादा लोग इसकी चपेट में आए हैं.

एनआर/आईबी (एएफपी)

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