क्यूबा में खुला नई कारों का रास्ता
क्यूबा की सड़कें पुराने समय की याद दिलाती हैं क्योंकि वहां विंटेज अमेरिकी सीडान कारों की भरमार दिखती है. मगर अब इस कम्यूनिस्ट देश में नई विदेशी कारों के आयात का रास्ता साफ हो गया है.
बाजार पर कब्जा, बिना किसी नकल
1950 के दशक में दुनिया भर के कम्युनिस्टों का सपना था पूंजीवाद जैसा होने के बदले उनसे बेहतर होना. क्यूबा में यह प्रयास बहुत सफल नहीं रहा. वहां ज्यादातर कारें क्रांति से पहले की हैं, 60 साल पुरानी हैं.
क्रांति और प्रतिबंध
क्यूबा में इन पुरानी कारों की वजह 1958-59 की क्रांति है. क्रांति में जीत के बाद फिदेल कास्त्रो और उनके कॉमरेडों ने देशवासियों को कार रखने की अनुमति तो दी, लेकिन नई कारें खरीदने की नहीं. देश में केवल वही कारें रहीं जो उस समय द्वीपीय राष्ट्र में मौजूद थीं.
पुरानी सीडान कारें
उस समय क्यूबा में 1940 और 50 के दशक में अमेरिका में प्रचलित बड़ी रोड क्रूजर कारें जैसे ओल्ड्समोबाइल, शेवर्ले या प्लेमाउथ (तस्वीर में बाएं से दाएं) ही मौजूद थीं. इसके बाद कुछ सोवियत, फ्रेंच और एशियाई कारें आईं, लेकिन इन्हें खरीदने के लिए परमिट की जरूरत होती थी.
हर कोई बना मेकैनिक
इन पुरानी कारों का रखरखाव कार मालिकों के लिए सिरदर्द था. कारों के स्पेयर पार्ट मिलने में दिक्कत आती थी और 100 किलोमीटर चलने में ही करीब 20 लीटर ईंधन लग जाता था. इतने सालों तक क्यूबा में लोग किसी तरह इन कारों की मरम्मत कर इस्तेमाल में लाते रहे.
घोड़ागाड़ी की सवारी
जब कारों का हॉर्सपावर जवाब दे देता है तब क्यूबावासी असली घोड़े की सवारी से भी गुरेज नहीं करते. घोड़ागाड़ियों की सवारी करते लोग देश में काफी जगहों पर दिख जाते हैं.
स्टाइल की सवारी
क्यूबा पहुंचने वाले पर्यटक इन पुरानी क्लासिक कारों की सवारी कर काफी खुश होते हैं. कई लोगों ने अपनी कारें टैक्सी सर्विस में लगा दी हैं. कनाडा और दूसरे देशों से हर साल यहां करीब 30 लाख पर्यटक पहुंचते हैं.
खुल रहा है बाजार
क्यूबा की सड़कें जल्दी ही नए अवतार में दिखने लगेंगी. देश के राष्ट्रपति राउल कास्त्रो ने दुनिया से अलग थलग पड़ गई क्यूबा की अर्थव्यवस्था को सुधारने की ओर कदम बढ़ाए हैं. नई कारों पर से प्रतिबंध हटाना उसी कोशिश का एक हिस्सा है.
नई कारें - क्या सबके लिए?
नई कारों को बाजार मूल्य पर खुलेआम बेचा जाएगा. लेकिन अभी यह नहीं कहा जा सकता कि क्यूबा के एक करोड़ से ज्यादा निवासियों में से कितने इन्हें खरीदने की सामर्थ्य रखते हैं. यहां के सरकारी अधिकारियों की मासिक आय करीब 20 अमेरिकी डॉलर के बराबर ही है.
शायद कुछ सालों में...
क्यूबा शायद अपने पड़ोसी कैरेबियाई देश जमैका जैसा दिखने लगे, जहां सड़कें पुरानी लेकिन मजबूत दिखने वाली एशियाई कारों से अटी पड़ी हैं. क्यूबा को अपने परिवेश और जरूरत के हिसाब से कुछ खास कारों को अहमियत देनी होगी.
ड्राइविंग सीट पर सवार
कुछ समय पहले जर्मन कार कंपनी मर्सिडीज के एक कैंपेन पर काफी बवाल हुआ. इसमें क्यूबा के क्रांतिकारी चे गेवारा की टोपी पर बने लाल तारे की जगह मर्सिडीज का लोगो दिखाया गया था. क्यूबा के लिए आदर्श कार जापान की माजदा हो सकती है, जिसका नारा है- "ड्राइव द रिवॉल्यूशन."