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शिक्षा

जर्मन कंपनी के सहयोग भोपाल में खुली इलेक्ट्रिकल लैब

३० अक्टूबर २०१७

मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के सेंटर फॉर रिसर्च एंज इंडस्ट्रियल स्टाफ पर्फोर्मेंस (CRISP) व्यावसायिक प्रशिक्षण के लिए जर्मनी की ट्रेनिंग सिस्टम बनाने वाली कंपनी लुकास-नुले से सहयोग कर रहा है.

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Indien Bundeskanzlerin Angela Merkel im Bosch Ausbildungszentrum in Bangalore
तस्वीर: picture-alliance/dpa/K. Nietfeld

मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के सेंटर फॉर रिसर्च एंज इंडस्ट्रियल स्टाफ पर्फोर्मेंस (CRISP) में जर्मनी की ट्रेनिंग सिस्टम बनाने वाली कंपनी लुकास-नुले और एचआरवेयर कंसल्टिंग सर्विसेस, यूएई के सहयोग से आधुनिक इलेक्ट्रिकल एवं इलेक्ट्रानिक्स लैब की स्थापना की गई है.

तकनीकी शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार), स्कूल शिक्षा एवं श्रम राज्य मंत्री दीपक जोशी ने इस लैब का उद्घाटन किया. लैब में इलेक्ट्रिकल, इलेक्ट्रॉनिक्स, मेकाट्रॉनिक्स, टेली-कम्युनिकेशन और ऑटोमेशन के संबंध में प्रशिक्षण देने के साथ ही परियोजनाएं भी विकसित की जाएंगी. इस मौके पर दीपक जोशी ने जर्मन ट्रेनिंग मॉड्यूल का सरलीकरण करने की अपील की ताकि बच्चे बेहतर प्रशिक्षण ले सकें. उन्होंने कहा कि जर्मनी का भारत से स्वतंत्रता संग्राम के समय से संबंध रहा है. उन्होंने कहा कि जर्मन तकनीक का अधिक से अधिक लाभ लेने के लिए प्रस्ताव तैयार करें.

जर्मन शहर कोलोन के निकट कैर्पेन में स्थित लुकास नुले कंपनी पिछले 40 साल से ज्यादा से उच्चस्तरीय ट्रेनिंग सिस्टम विकसित कर रही है. वह स्मार्ट फैक्टरी और ऑटोमेटिव टेक्नोलॉजी जैसे इलाकों में प्रशिक्षण में सक्रिय है.

भारत-जर्मनी के बीच वोकेशनल ट्रेनिंग बढ़ाने पर जोर

तकनीकी शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव संजय बंदोपाध्याय ने कहा कि युवाओं का स्किल डेवलपमेंट सरकार की प्राथमिकता है. उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री कौशल संवर्धन योजना और कौशल्या योजना में 4 लाख 50 हजार युवक-युवतियों को प्रशिक्षण देने का लक्ष्य है. बंदोपाध्याय ने कहा कि प्रदेश के बेहतर माहौल का लाभ जर्मनी को भी मिलेगा.

क्रिस्प के सीईओ मुकेश शर्मा ने बताया कि लैब की स्थापना का उद्देश्य प्रदेश में तकनीकी, व्यावसायिक और उन्नत शिक्षा से संबंधित गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण देना है. लैब इंजीनियरिंग और तकनीकी प्रशिक्षण के क्षेत्र में शोध क्षमता बढ़ाने में मदद करेगी.

एमजे/एनआर (वार्ता)