जर्मनी में क्या कर रहे हैं चीनी सैनिक
अपनी तरह के पहले कार्यक्रम में चीन की पीपल्स लिबरेशन आर्मी के सैनिक जर्मन सेना बुंडेसवेयर के सैनिकों के साथ बवेरिया के एक शहर में अभ्यास कर रहे हैं. देखिए 'कंबाइंड एड 2019' की झलकियां.
खास डिलीवरी
यह ट्रेनिंग प्रोग्राम सैन्य चिकित्साकर्मियों के लिए है. चीन से उनके विशेष बचाव वाहन मंगाए गए हैं. ये पानी के जहाज से हैम्बर्ग के पोर्ट पर पहुंचे फिर इन्हें दक्षिण जर्मनी के फेल्डकिर्शेन शहर में पहुंचाया गया. कुल 92 चीनी और 120 जर्मन सैनिक साथ कर रहे हैं अभ्यास. इनके अलावा भी 120 महिला और पुरुष सहायक भूमिकाओं में हैं.
कोई आम बात नहीं
'आर्मर्ड मेडिकल इवैक्यूएशन व्हीकल' के अलाव कुछ और चीनी सप्लाई भी फेल्डकिर्शेन पहुंची है. ऐसा संयुक्त अभ्यास जर्मन-चीनी सैन्य सहयोग के लंबे इतिहास में अपनी तरह का पहला प्रोग्राम है. सन 2016 में जर्मनी के 38 सैन्य चिकित्साकर्मी ऐसे अभ्यास के लिए चीन गए थे.
फोल्डिंग अस्पताल
इस अभ्यास में चुनौती थी कि किसी इलाके में संयुक्त राष्ट्र की तैनाती होने पर वहां फटाफट अस्पताल कैसे स्थापित किया जाए. इसके लिए चीनी अर्दलियों ने अपने साथ लाए मोबाइल अस्पताल के सामान से देखते ही देखते फोल्डिंग अस्पताल खड़ा कर दिया. इसे किसी तंबू की तरह खोला या समेटा जा सकता है.
मेडिकल ट्रेनिंग
2016 की ट्रेनिंग में भूकंप पीड़ितों की मदद के लिए उठाए जाने वाले कदमों पर ध्यान दिया गया था. चीन को इस क्षेत्र में काफी अनुभव है. 2008, 2010 और 2012 के दौरान चीन में बड़े भूकंप आए थे. इस दौरान हुई हर आपदा में करीब 40 से 50 हजार लोग घायल हुए. 2019 के अभ्यास में जोर ऐसे मेडिकल स्टाफ पर है जो सैन्य सहयोग के समय हरकत में आए.
अनुवादकों का सहारा
संयुक्त अभ्यास के दौरान चीनी और जर्मन भाषा से अंग्रेजी जैसी किसी व्यापक रूप से समझी जाने वाली भाषा अनुवाद करने वालों की मदद ली जा रही है. बुंडेसवेयर इसे अंतरराष्ट्रीय सहयोग बढ़ाने में बहुत उपोगी मानती है. भविष्य में किसी क्रॉस-बॉर्डर अभियान में इससे मदद मिलने की उम्मीद है.
बीमारियों के खिलाफ भी साथ
बुंडेसवेयर का कहना है, "इंसानी आबादी को महामारियों और संक्रामक बीमारियों से बचाना एक अंतरराष्ट्रीय जिम्मेदारी है." इस अभ्यास के लिए एक संयुक्त लोगो तक बनाया गया है. (मार्को म्यूलर/आरपी)