भीषण गर्मी का कैसे सामना कर रहा है यूरोप
यूरोप में भीषण गर्मी ने पिछले सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. आमतौर पर ठंडे रहने वाले इन देशों में लोगों को काफी मुश्किल पेश आ रही है क्योंकि उनके पास गर्मी से लड़ने के बहुत कम ही उपाय मौजूद हैं. जो हैं वो भी सबके लिए नहीं.
गर्मी में ट्रेनों का चलना रद्द
लंदन के किंग्स क्रॉस स्टेशन का ये प्लेटफॉर्म इसलिए खाली है क्योंकि गर्मी की वजह से ट्रेनें रद्द कर दी गईं और लोगों से कहा गया कि वो अपने घर में ही रहें. लंदन के इतिहास में पहली बार मंगलवार को पारा 40 डिग्री के पार गया.
बीच पर उमड़ी भीड़
नीदरलैंड्स के शेवेनिंगेन बीच का यह नजारा 19 जुलाई का है जब गर्मी से बचने के लिए बड़ी संख्या में लोग सागर तट पर पहुंच गए. जिन लोगों के घर में गर्मी ज्यादा थी उनके पास इस तरह की जगहों पर जाने के सिवा और कोई रास्ता नहीं था.
आइसक्रीम का सहारा
तेज गर्मी में ठंडक पाने के लिए बहुत से लोगों ने आइसक्रीम खाकर भी काम चलाया. बर्लिन में एक दूसरे की कप से आइसक्रीम का स्वाद चखतीं मां-बेटी.
पानी का सहारा
गर्मी से बचने में लोगों को सबसे ज्यादा मदद पानी के ठिकानों से ही मिल रही है. नदी, नहर, तालाब, स्विमिंग पुल या समंदर जिसे जो मिला उसने उसमें छलांग लगा दी. पानी की शीतलता कुछ देर के लिए तो गर्मी भुला ही देती है.
रेल की पटरियों पर सफेद रंग
अत्यधिक गर्मी के कारण रेल की पटरियां गर्म हो कर टेढ़ी ना हो जाएं इस डर से लंदन में उन्हें सफेद रंग से रंग दिया गया. सफेद रंग रोशनी को परावर्तित कर देता है इसलिए वह काली या भूरी पटरियों की तुलना में कम गर्मी सोखता है.
हाथियों को नहलाया
गर्मी से बचाने के लिए जानवरों के लिए भी पानी का ही सहारा था. यह तस्वीर ब्रांडेनबुर्ग के चिड़ियाघर की है जहां हाथी को ठंडे पानी से नहला कर उसकी गर्मी भगाई जा रही है.
पानी के फव्वारे
जो लोग नदी या तालाबों तक नहं पहुंच सके उन्होंने फव्वारों से ही काम चलाया. बुडापेस्ट में ठंडे पानी के फव्वारों से गर्मी भगाने की कोशिश करते लोग.
पानी पानी
बेल्जियम में इस लड़के ने गर्मी से बचने के लिए पानी के फव्वारे में खुद को भरपूर गीला कर लिया. फौरी तौर पर राहत पाने का शायद यही एक उपाय बचा था.
बच्चों की मौज
छुट्टियों का मौसम और भारी गर्मी ने बच्चों को मौज करने का खूब मौका दिया है. हर दिन वो पानी के फव्वारों या फिर स्विमिंग पूल में जा कर मस्ती कर रहे हैं. इस बच्चे को तो अकेले खेलने का मौका मिल गया है लेकिन ज्यादातर को भारी भीड़ मिल रही है.
सागर किनारे
जर्मनी में सागर तट कम है लेकिन जितने हैं वहां लोगों का भारी हुजूम मंगलवार को नजर आया. ऐसा लग रहा था मानो पूरा शहर उठ कर सागर किनारे पहुंच गया हो. देर शाम तक लोग यहीं डटे हुए थे.
हाथ के पंखे
गर्मी की मार ज्यादा है और राहत मिलने के उपाय कम. यूरोप के घर और दफ्तर आमतौर पर सर्दियों से बचाने के लिए बने होते हैं गर्मी से नहीं. ज्यादातर घरों या दफ्तरों में ना तो पंखा है, ना कूलर और ना ही एसी. इस हाल में बस हाथ पंखों का ही सहारा है.
फलों का स्वाद और गर्मी से राहत
रोम के चिड़ियाघर में इन नन्हें जीवों को ठंडे खरबूज दिये गए ताकि वो गर्मी में खुद को ठंडा रख सकें. यूरोप की इस गर्मी में सभी बेहाल हैं और राहत देने वाली चीजें बहुत कम.
पेड़ों का भी बुरा हाल
गर्मी की वजह से पेड़ पौधों की भी दुर्दशा हो गई है. बहुत से फूलों के पौधे पानी डालने के बावजूद झुलस गये है. बड़े पेड़ों ने खुद को किसी तरह संभाल रखा है लेकिन उन्हें जल्दी जल्दी पानी दे कर बचाया जा रहा है.