लीबिया में 37 बांग्लादेशियों की मौत
२४ फ़रवरी २०११बांग्लादेश की सरकार ने लीबिया में अपने नागरिकों के मारे जाने की पुष्टि अभी नहीं की है. लेकिन डॉयचे वेले के ढाका संवाददाता से बातचीत में सैफुल इस्लाम और अब्दुल मजीद नाम के दो मजदूरों ने बताया कि लीबिया में कम से कम 800 बांग्लादेशी फंसे हुए हैं. इनमें से 300 लोगों को शिविरों में रखा गया है. बांग्लादेशी मजदूरों ने बताया कि रात में उन पर हमले हो रहे हैं जिनमें अब तक 37 लोग मारे गए हैं और बहुत से घायल हुए हैं.
लीबिया में सरकार विरोधी प्रदर्शनों से पैदा संकट के कारण चिकित्सा सुविधाओं और खाद्य पदार्थों की कमी की वजह से स्थिति और गंभीर हो गई है. सैफुल इस्लाम और अब्दुल माजिद ने डॉयचे वेले को बताया कि अब तक वे लीबिया में बांग्लादेशी दूतावास से संपर्क करने में नाकाम रहे हैं. दूतावास की तरफ से भी उनकी कोई मदद नहीं की जा रही है.
त्रिपोली से 50 किलोमीटर दूर अल मामुरा इलाके में 4,000 बांग्लादेशियों को बंधक बनाए जाने की खबर है जो एक निर्माण कंपनी में काम करते हैं. स्थानीय मजदूर मोहम्मद इब्राहिम कलील और इमरान हुसैन ने बताया कि कम से कम 100 बांग्लादेशी देश में जारी हिंसक विरोध में घायल हुए हैं.
मूल रूप से बांग्लादेश के कोमिला शहर के रहने वाले मोहम्मद इब्राहिम कलील लगभग दो साल से लीबिया में काम कर रहे हैं. लेकिन पिछले कुछ दिनों से न तो उन्हें ठीक से खाना मिल रहा है और न ही दवाएं. इमरान हुसैन ने भी ऐसे ही हालात बयान किए हैं और बांग्लादेश की सरकार से तुरंत मदद की गुहार लगाई है.
इस बीच बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने कहा है कि लीबिया में मौजूद बांग्लादेशी लोगों को किसी तीसरे देश में भेजने की कोशिश हो रही है. मंत्रालय के मुताबिक सरकार अंतरराष्ट्रीय इमिग्रेशन अधिकारियों के साथ मिल कर मुद्दे को हल करने की कोशिश कर रही है.
रिपोर्टः हारून उर रशीद स्वपन, ढाका
संपादनः ए कुमार