हसीना को बदनाम करने के आरोप में फीफा अधिकारी को जेल
१८ मार्च २०१९अंतरराष्ट्रीय फुटबॉल संघ फीफा की सदस्य महफूजा अख्तर किरॉन ने एक महीने पहले बांग्लादेश में मीडिया से बातचीत में कहा था कि प्रधानमंत्री हसीना क्रिकेट के दीवाने देश में फुटबॉल को नजरअंदाज कर रही हैं.
बांग्लादेश के एक खेल क्लब के सदस्य अबुल हसन चौधरी प्रिंस का मानना है किरॉन का बयान प्रधानमंत्री हसीना के लिए अपमानजनक था. इसे लेकर उन्होंने फीफा अधिकारी पर प्रधानमंत्री की मानहानि करने का आरोप लगा दिया. उन्होंने कहा, "मैंने केस दायर किया क्योंकि उन्होंने हमारी खेल-प्रेमी प्रधानमंत्री के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की थी."
उनकी ही शिकायत पर इस 52 वर्षीया फीफा अधिकारी महफूजा अख्तर किरॉन को उनके घर से गिरफ्तार कर लिया गया. किरॉन की वकील लियाकत होसेन ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि वह उन्हें जमानत दिलाने की कोशिशों में लगी हैं.
जमानत दिलाने की एक कोशिश असफल हो चुकी है लेकिन वे एक बार फिर से जमानत याचिका दायर करेंगी. उनकी दलील है कि उनकी मुवक्किल एक "प्रतिष्ठित महिला" हैं जो अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देश का प्रतिनिधित्व कर चुकी हैं, इसलिए उन्हें जमानत पर रिहा कर देना चाहिए.
प्रधानमंत्री शेख हसीना की सरकार पर मुक्त भाषण पर रोक लगाने और ज्यादा से ज्यादा निरंकुश होने के आरोप लगते रहे हैं. हाल ही में उनकी सरकार देश में तीसरी बार विराट बहुमत से सत्ता में आई है. हालांकि 30 दिसंबर को हुए आम चुनावों में देश के कई हिस्सों से हिंसा और धांधली की शिकायतें आई थीं. उनकी सरकार ऐसे आरोपों को हमेशा नकारती आई है कि उनके राज में देश के 16 करोड़ से अधिक लोगों की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता संकट में है.
किरॉन को 2017 में फीफा परिषद की सदस्यता के लिए चुना गया था. इससे पहले वे फीफा वीमेन्स वर्ल्ड कप कनाडा 2015 की आयोजन समिति की सदस्य थीं. वे फीफा के पिछले दो अंडर-20 महिला विश्व कप की आयोजन समितियों में भी थीं.
आरपी/एके (एपी, रॉयटर्स)